Tuesday, March 20, 2012

नर्तन


 



जिस्म पर जब हवा का झोंका पड़ा लगा किसी ने तालाब में बड़ा सा पत्थर दे मारा हो। एक बड़ी जलराशि ने अपनी थिर जगह छोड़ी और पानियों का गुच्छा लरज़ कर टूटा।

/कट टू /

एक झील किनारे की सड़क पर खुली छत वाली जीप तेज़ी से गुज़रती है फिर अनाचक हम उसके तेज़ीपन को स्लो मोशन में दिखाते हैं। कैमरा पैन करता हुआ झील पार खड़े शीशम के छरहरे व्यस्क पेड़ों की तरफ जाता है। घने घने हरे पत्तों से लदे पेड़ अपने छायापन में कालापन लिए हुए है। दो पेड़ों के बची प्र्याप्त दूरी है फिर भी फुगनी इतनी हल्की है कि उनमें गलबाहियां हो रही हैं। कैमरा पैन करता हुआ झील में इस मिलन की परछाई दिखाता है।

/कट टू/

मछली कई दफा रात को सांस लेने के बहाने चांद को देख आती है। डुबकी से उबरते हुए जब भी नदी की सतह पर आती है कुछ बुलबुले छोड़ जाती है। आज पूर्णिमा की रात है। चांदनी का असर से मछलियां ज्यादा ही चमक रही हैं। सारी मछलियां डाॅल्फिन में बदल गई लगती है जो इस रोशनी से नहाई हुई समां में कलाबाजियां दिखा रही हैं। मछली की अंगराई चांद के लिए ही है। मछली यह जता तो रही है मगर बता नहीं रही कि मैंने तुम्हारा महीने भर इंतज़ार किया है और आज जब आए हो तो मुझे तुम्हारी कोई गरज नहीं। मछलियों के कमर में ज़माने भर के वियोग का दम और मिलन की बेताबी बल खा रही है।

/कट टू /

एक बांझ औरत अपने कमरे में किसी अनजाने बच्चे को दूध पिलाने का असफल प्रयास कर रही है। बच्चे को अपने सीने उसे भींच ज़ार ज़ार रोती है और जब यह ख्याल आता है कि कोई बाहर सुन लेगा तो अचानक बेआवाज़ रोती है। मद्धम स्वर में सितार झंकृत होता है। धीरे धीरे तेज़ होता जाता है।

/कट टू/

नुक्कड़ पर कोई छोटा सा सर्कस लगा है। एक हल्का अक्स झूले का, रस्सी पर चलते नकली दाढ़ी मूंछ लगाए लड़की का, एक छोटा बच्चा के डफली बजाने का, सुधा डेयरी प्राजेक्ट का लोगो लगा उल्टा रखा हुए कैरेट्स, बस में टिकट काटता कंडक्टर, मोबाइल रिचार्ज कराता आदमी, क्लास में कानी उंगली उठा शू शू की परमिशन मांगता बच्चा, स्टूडियो लेट पहुंचता कलाकार, यू आई आई के कैंटीन में किसी खास के लिए थाली में रखा ठंडा होता उत्तपाम।

एक भंवर बनता है, गोल गोल घूमता है, धीरे धीरे ऊपर उठता है। किसी ने ताड़ के पेड़ पर चढ़ने वाली रबड़ की ट्यूब जैसे हवा में उछाली है।


1 comment:

  1. इसे "सोचालय" पर होना चाहिये था... ये रफ़ ड्राफ्ट तो कहीं से भी नहीं लग रहा...! b'ful piece !!

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